Railway : आपने भी रेलवे में कई बार सफर किया होगा और देखा होगा कि अधिकतर लोग कहीं भी आने जाने के लिए रेलवे का ही इस्तेमाल करते हैं। इसलिए हमेशा रेलवे के सफर के दौरान भीड़ देखने को मिलती हैं। लेकिन रेल किराए में छूट भी दी जाती है जो खास व्यक्तियों के लिए ही उपलब्ध है।
ऐसे में रेलवे (Railway) द्वारा जिन लोगों को रेल टिकट में छोड़ दी जाती है उनमें सीनियर सिटीजन, दिव्यांग, मरीज, खिलाड़ी, डॉक्टर, स्वतंत्रता सेनानी, युद्ध लड़ने वाले सेना के जवान और मान्यता प्राप्त पत्रकारों, युद्ध लड़ने वाले सैनिकों, उनकी विधवा, नर्स, कलाकार, खिलाड़ी, पुरस्कार विजेता आदि शामिल हैं।
इसके अलावा रेलवे द्वारा कई और लोगों को भी रेल किराए में छूट दी जाती है जिसमें से छात्रों को 100% छूट दी जाती है। आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि रेलवे किसे रेल किराए में छूट दे रहा है और इसे कैसे प्राप्त किया जा सकता है?
जाने इसके 2 नियम
ट्रेन में यात्रा करने वाले को केवल बेसिक किराए नहीं छोड़ दी जाती है। इसका मतलब है कि अन्य सुपरफास्ट रिजर्वेशन चार्ज में कोई छूट नहीं मिलती है। लेकिन कुछ मामला में राजधानी शताब्दी और जनशताब्दी ट्रेनों में इसमें छूट दी जाती है।
ट्रेन में यात्रा करने पर रेल किराए में दी जाने वाली छूट इसकी कैटेगरी पर निर्भर करती है कि वह कौन सी ट्रेन में यात्रा कर रहा है। इसके अलावा यात्रा पर केंद्र और राज्य सरकार ने विश्वविद्यालय के उपक्रम के हिसाब से भी छोड़ दी जाती है। स्कूल, कॉलेज और विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित कार्यक्रम में जाने पर स्टूडेंट किराए में छूट के पात्र हैं।
इन लोगों को मिलती है छूट
इसके अलावा रेलवे द्वारा ट्रेन में यात्रा करने वालों हार्ट, हेमोफिलिया मरीजों, युद्ध विधवाओं, आईपीकेएफ की विधवाएं, संचालन के शहीदों की विधवा विजय 1999 (कारगिल), आतंकवादियों और चरमपंथियों के खिलाफ कार्रवाई में मारे गए रक्षाकर्मियों की विधवा, राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता शिक्षक, श्रम पुरस्कार विजेता औद्योगिक श्रमिक, पुलिसकर्मियों की विधवाओं में मारे गए आतंकवादियों और चरमपंथियों के खिलाफ कार्रवाई, वरिष्ठ नागरिक, एलोपैथिक डॉक्टर, माता-पिता राष्ट्रीय बहादुर पुरस्कार विजेता बच्चे, पुलिस पदक पुरस्कार विजेता, द्रोणाचार्य पुरस्कार विजेता कोच, खिलाड़ी आदि को भी नियमों के तहत रेल किराए में छूट मिलती है।
इसके साथ ही ट्रेन में यात्रा करने वाले स्टूडेंट्स, दृष्टिबाधित व्यक्ति, विकलांग या पैरापेलेजिक व्यक्तियों, टीबी और कैंसर रोगियों, किडनी रोगियों, गैर संक्रामक कुष्ठ रोगियों, मानसिक रूप से मंद व्यक्ति को 300 किलोमीटर की न्यूनतम दूरी के लिए किराए में छूट दी जाती है।
कैसे ले सकते है छूट का लाभ
रेलवे यात्रियों को रेलवे काउंटर पर टिकट लेते समय ये रियायत दी जाती है। लेकिन अगर कोई व्यक्ति बिना टिकट के ट्रेन में चढ़ जाता है और उच्च श्रेणी में रियायत में बदलाव करता है तो उसे ट्रेन में योग्य होने के बाद भी रियायत नहीं दी जाएगी। इसके अलावा वाला यात्रा करने वाली व्यक्ति एक से ज्यादा लाभ नहीं ले सकता है। इसके अलावा व्यक्ति जहाँ से जहाँ तक की यात्रा कर रहा है उसी यात्रा किराये पर छूट दी जाती है।