Friday, July 26, 2024
Railway News

Train आने से कितने समय पहले और कितनी देर तक रेलवे फाटक बंद रहता है? जानें – नियम….

Indian Railway acts: भारतीय रेलवे दुनिया का चौथा सबसे बड़ा रेल नेटवर्क है. जहां से हर रोज लाभ को लोग सफर करते हैं और हजारों ट्रेनों का संचालन होता है. भारतीय रेलवे से लोग इसलिए सफर करना पसंद करते हैं क्योंकि कम कीमत में अधिक से अधिक दूरी और बेहद खास सुविधा के साथ लोगों को सफर करने का मौका मिलता है.

लेकिन रेलवे पटरियों के अगल- बगल सड़कों पर चलने वाले लोगों की सुरक्षा की जिम्मेदारी भी रेलवे की होती है. ऐसे में सड़कों पर बने रेलवे क्रॉसिंग को कहीं न कहीं से ये खबर जरूर सामने आती है कहीं किसी तेज रफ्तार ट्रेन की चपेट में आने से मौत हो गई, लेकिन रेलवे इसको लेकर नियम भी बनाया है. जिसके बारे में जरूर जानकारी होनी चाहिए.

दरअसल, रेलवे लोगों की सुरक्षा का ख्याल रखते हुए मानव रहित क्रॉसिंग की सुविधा उपलब्ध करवाती है. ऐसे में ट्रेन के आने से पहले फाटक बंद और जाने के फाटक ओपन किया जाता है. इसके बावजूद कुछ लोगों को जल्दबाजी खा जाती है यानी मौत के मुंह में झोक देती है. हालांकि, लोगों जरूर इस बात का ध्यान देना चाहिए ताकि वो सुरक्षित रह सके.

ये है नियम

बता दें कि, किसी भी फाटक को रेलवे स्टेशन से पहले बने क्रॉसिंग पर पहुंचने के बाद ही फाटक को बंद कर दिया जाता है. हालांकि, रेलवे की ओर से किसी भी फाटक को बंद करने के लिए 10 मिनट पहले का ही समय दिया जाता है. वहीं ट्रेन जानें के करीब 2 मिनट बाद फाटक गेट को ओपन किया जाता है. हालांकि, कभी-कभी ये समय 3 मिनट तक का भी हो जाता है.

ये बनाया गया जरूरी नियम

वहीं मोटर वैहिकल एक्ट 1988 की धारा 131 के तहत मानव रहित फाटक को पार करते समय हमेशा सावधान रहें और रुके जरूर, अन्यथा हादसा होने पर रेलवे कोई जिमेदारी नहीं लेगा.

सुमन सौरब

सुमन सौरब thebegusarai.in वेबसाइट में मार्च 2020 से कार्यरत हैं। लगभग 4 साल से डिजिटल मीडिया में काम कर रहे हैं। बिहार के बेगूसराय जिले के रहने वाले हैं। इन्होंने LNMU से स्नातक की डिग्री प्राप्त की है। अपने करियर में लगभग सभी विषयों (राजनीति, क्राइम, देश- विदेश, शिक्षा, ऑटो, बिजनेस, क्रिकेट, लाइफस्टाइल, मनोरंजन आदि) पर लेखन का अनुभव रखते हैं। thebegusarai.in पर सबसे पहले और सबसे सटीक खबरें प्रकाशित हों और सही तथ्यों के साथ पाठकों तक पहुंचें, इसी उद्देश्य के साथ सतत लेखन जारी है।