Railway Fine : कई बार ऐसा होता है कि सरकारी कामों में भी गलतियां हो जाती हैं और लोग इन्हें नजरअंदाज कर जाते हैं। लेकिन सरकारी कामों में हुई कुछ गलतियों का लोग फायदा उठा लेते हैं और लाखों रुपए कमा बैठते हैं।
ऐसा ही एक वाकया रेलवे (Railway) के अधिकारियों के साथ हुआ है। दरअसल रेलवे को भी अपने काम में हुई गलती के कारण एक व्यक्ति को 35 रुपये के बदले करोड़ों रुपए का हर्जाना देना पड़ गया था। आइए आपको बताते हैं यह पूरा वाकया…..
35 रुपये के लिए 3 साल लड़ाई
दरअसल यह बात राजस्थान के कोटा जिले के रहने वाले इंजीनियर सुरजीत स्वामी को लेकर है, जिसकी वजह से 3 लाख लोगों को फायदा हुआ है। इस मामले में लोगों को ज्यादा पैसे तो हाथ नहीं लगे लेकिन लाखों लोगों को पैसा वापस करते समय रेलवे (Railway) को काफी बड़ा झटका लग गया। आपको बता दें कि सुरजीत स्वामी ने रेलवे से मात्र 35 रुपये वापस लेने के लिए 5 साल तक कोर्ट में केस लड़ा और अंत में उनकी जीत हो गई।
रेलवे ने काटे थे 35 रुपये
सुरजीत स्वामी ने कोटा से दिल्ली तक जाने के लिए स्वर्ण मंदिर रेल में अपना टिकट बुक कराया था और इसके कुछ समय बाद ही 1 जुलाई से GST का नया नियम लागू हुआ था। लेकिन उन्होंने नियम लागू होने से पहले ही अपना टिकट कैंसिल करा दिया था जिसकी कीमत 765 रुपये थी। इसके बदले में 100 रुपये काटकर उन्हें 665 रुपये वापस किए गए। लेकिन उनसे GST के भी 35 रुपये लिए गए जबकि उन्होंने GST लागू होने से पहले ही टिकट कैंसिल करवा दी थी।
दरअसल सुरजीत स्वामी ने अतिरिक्त काटे गए 35 रुपये को पाने के लिए प्रधानमंत्री, रेल मंत्री, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, जीएसटी परिषद और वित्त मंत्री को टैग कर बार बार ट्वीट किए और इसी की बदौलत 2.98 लाख लोगों को 35-35 रुपये वापस मिले। इसके लिए सुरजीत ने रेलवे (Railway) और वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) को RTI भेजकर लड़ाई की शुरुआत की थी।
2 रुपये के लिए लड़े 3 साल
लेकिन मामला यहीं नहीं रुका। रेलवे (Railway) ने सुरजीत को पैसे तो वापस किए लेकिन 35 रुपये की जगह 33 रुपये ही वापस किए गए। इसके बाद सुरजीत ने वापस वही किया और अपने 2 रुपये पाने के लिए उन्होंने 3 साल तक केस लड़ा। इसके बाद उन्होंने ये केस भी जीत लिया और उनके साथ ही बाकी 2.98 लाख लोगों को 2 रुपये वापस मिले। लेकिन सुरजीत स्वामी ने इसके बाद 535 रुपये पीएम केयर्स फंड में दान दे दिए।