क्या आप जानते हैं चल और अचल संपत्ति क्या होती है? जानें – विस्तार से

चल और अचल संपत्ति: प्रॉपर्टी खरीदते या बेचते समय कई बातों का ध्यान रखना चाहिए। इसके लिए कानून भी बनाए गए हैं। चल-अचल संपत्ति का नाम तो आपने कई बार सुना होगा। इसमें लोग हमेशा कंफ्यूज रहते हैं कि चल और अचल संपत्ति में क्या अंतर है। आज हम आपको इस कन्फ्यूजन से बाहर निकालेंगे, जिससे आने वाले समय में आप इसके बारे में विस्तार से जान पाएंगे। आइए जानते हैं चल और अचल संपत्ति से जुड़े अधिकार और कानून के बारे में।

चल और अचल संपत्ति क्या है (Know Movable and Immovable Property) : ऐसी संपत्ति जिसे एक स्थान से दूसरे स्थान पर नहीं ले जाया जा सकता, अचल संपत्ति कहलाती है, जैसे मकान, घर, दुकान, कारखाना आदि। अब यदि चल संपत्ति की बात करें तो ऐसी संपत्ति जिसे एक स्थान से दूसरे स्थान पर आसानी से ले जाया जा सके, अचल संपत्ति कहलाती है। चल संपत्ति, जैसे कार, गहने, लैपटॉप आदि अचल संपत्ति आमतौर पर होती है

दोनों के बीच क्या है अंतर : ऐसी सम्पत्ति जो भूमि से जुड़ी न हो अर्थात् जिसे एक स्थान से दूसरे स्थान पर आसानी से ले जाया जा सके, चल सम्पत्ति कहलाती है। इसे फ्लोटिंग एसेट भी कहते हैं। चल संपत्ति के लिए किसी पंजीकरण की आवश्यकता नहीं है। अचल संपत्ति का मूल्य 100 रुपये से अधिक होने पर पंजीकरण अधिनियम 1908 के तहत उसका पंजीकरण आवश्यक है।

चल संपत्ति को आसानी से विभाजित किया जा सकता है जबकि अचल संपत्ति को आसानी से विभाजित नहीं किया जा सकता है। अचल संपत्ति बिना वसीयत किए या बिना उपहार या बिना विभाजन के किसी को हस्तांतरित नहीं की जा सकती। जबकि चल संपत्ति आसानी से किसी को भी दी जा सकती है।