चांद को मामा ही क्यों कहा जाता है? चाचा, ताऊ या फूफा क्यों नहीं…..

Why is the Moon Called Uncle? चांद का जिक्र कई कविता और कहानियों में है। इन सभी में चांद (Moon) को मामा की उपाधि दी गई है। आम जिंदगी में भी बच्चे को खिलाते वक्त कहानी सुनाते हुए चंद्रमा को मामा का कर संबोधित किया जाता है।

लेकिन, क्या आपको पता है कि चांद (Moon) को मामा ही क्यों कहां जाता है फूफा और चाचा भी तो कहा जा सकता है। लेकिन, नहीं इसके पीछे भी एक खास वजह है। यह वजह पौराणिक कला से संबंध रखता है। आइए जानिए हैं इसे बिस्तर से।

चांद को इस वजह से कहते हैं मामा

दरअसल, इस बात को हिंदू पौराणिक कथाओं से जोड़ा गया है। कहा जाता है कि देवताओं और असुरों के बीच समुद्र मंथन हो रहा था, उस समय समुद्र के अंदर से कई तत्व निकले। इन तत्वों में मां लक्ष्मी, वारुणी, चंद्रमा और विष शामिल हैं। समुद्र मंथन से निकलने के बाद माता लक्ष्मी भगवान श्री विष्णु के पास चली गई थीं।

अब हिंदू मान्यताओं के अनुसार हम सभी लक्ष्मी जी को अपनी मां मानते हैं। इसलिए समुद्र मंथन के बाद जो भी तत्व निकले उन्हें उनका छोटा भाई या छोटी बहन माना गया। और माँ लक्ष्मी के बाद समुद्र मंथन से चंद्रमा निकले, इसलिए उन्हें माँ लक्ष्मी का छोटा भाई कहा जाता है। अब हम सभी माता लक्ष्मी को अपनी मां मानते हैं, इसलिए चंद्रमा हम सभी के मामा हुए और यही कारण है कि भारत की हर मां चंद्रमा को अपना भाई यानी अपने बच्चे का मामा कहती है।

चांद को इसलिए भी कहा जाता है मामा

इसके अलावा चंद्रमा को मामा कहने के पीछे एक और कारण है। दरअसल, हम सभी जानते हैं कि चंद्रमा पृथ्वी के चारों ओर घूमता है और दिन-रात एक भाई की तरह उसके साथ रहता है। अब चूँकि हम सभी पृथ्वी को अपनी ‘माँ’ मानते हैं, ऐसे में उसका भाई यानि चंद्रमा हमारा मामा हुआ। इसलिए हम सब चाँद को मामा कहते हैं।