बेगूसराय में BJP,JDU,LJP का सीटों का समीकरण समझ लीजिए कैसे हो सकता है बंटवारा

पोलिटिकल डेस्क : क्या 2010 के विधानसभा चुनाव की तर्ज पर बेगूसराय जिले में एनडीए का सीट गठबंधन होगा। जिले में विधानसभा की सात सीटें हैं। इनमें एक बखरी अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित है। जिले में सात सीटों के बंटवारे की तस्वीर साफ नहीं हुई है। कयासों का दौर जारी है। राजनीतिक दलों के नेता इसे लेकर आकलन करने में लगे हैं। सीटों को लेकर हर के अपने अपने दावे हैं।

जिले में वर्तमान में एनडीए के दो विधायक हैं। ये दोनों जदयू के हैं। जदयू को एक और विधायक की आमद तब हुई जब तेघड़ा के आरजेडी विधायक ने पिछले महीने जदयू की सदस्यता ग्रहण कर ली। एनडीए के दो अन्य घटक भाजपा और लोजपा के एक भी विधायक नहीं हैं। चुनावी माहौल में बेगूसराय में लड़ाई एनडीए और महागठबंधन के बीच ही होगी। अब एनडीए में सीट को लेकर लोजपा और जदयू में तनातनी की स्थिति बनी है। भाजपा चतुर मदारी की तरह खेल देख रही है।

जिले में एनडीए के घटक दलों के बीच सीटों को लेकर अटकलों का दौर जारी है। जिले में पिछले 2010 के विधानसभा चुनाव में जब भाजपा जदयू
साथ थी तो गठबंधन का आधार चार और तीन का था। तब भाजपा ने बखरी,तेघड़ा बछवाड़ा और बेगूसराय की सीटें लीं थीं। जबकि,जद यू के खाते में चेरियाबरियारपुर ,साहैबपुरकमाल और मटिहानी की सीट थी। जिले में भाजपा और जद यू को तीन तीन सीटों पर जीत मिली थी। बछवाड़ा की सीट सीपीआई ने जीत ली थी। पिछले 2015 के विधानसभा चुनाव में भाजपा लोजपा ने चार और तीन सीटों पर चुनाव लड़ा। दोनों को एक भी सीट नहीं मिली थी। इस बार जद यू ,लोजपा और हम भी एनडीए में हैं।

जिले में भाजपा जदयू और लोजपा तीन तीन और एक के फार्मूले पर लड़ सकती है या फिर लोजपा और जदयू दो दो तथा भाजपा तीन सीटों पर भाग्य आजमा सकती है। भाजपा बखरी, बेगूसराय और तेघड़ा सीट पर दावेदारी में है‌। जद यू की मटिहानी और चेरियाबरियारपुर सीटिंग सीट है। लोजपा बछवाड़ा साहेबपुर कमाल तथा चेरियाबरियारपुर में 2015 में लडी थी। इस बार वह साहेब पुरकमाल और बछवाड़ा में उम्मीदवार उतार सकती है। सबकुछ ठीक रहा तो बेगूसराय में एनडीए का गठबंधन तीन दो दो का सटीक बैठेगा। देखिए सीटों के तालमेल पर क्या गुल खिलता है।