Bondi terrorist attack in Australia : ऑस्ट्रेलिया के बॉन्डी बीच पर पिछले हफ्ते हुई हांतांकी हमले ने सबको स्तब्ध कर दिया है। अब इस मामले में भारत कनेक्शन सामने आया है। दरअसल, हमले में शामिल संदिग्धों में से एक साजिद अकरम मूल रूप से तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद का रहने वाला है। इसको लेकर तेलंगाना पुलिस ने बीते मंगलवार को बताया कि 50 वर्षीय साजिद 27 साल पहले भारत से ऑस्ट्रेलिया जाकर बस गया था। लेकिन उसके पास से भारतीय पासपोर्ट मिला है।
1998 में भारत छोड़ दिया था साजिद
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, साजिद अपने बेटे नवीद अकरम के साथ कुछ दिनों पहले भारतीय पासपोर्ट पर फिलिपीन गया था। साजिद बॉन्डी बीच पर पुलिस कार्रवाई के दौरान मारा गया। तेलंगाना के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) कार्यालय की ओर से जारी बयान के मुताबिक, साजिद1998 में ऑस्ट्रेलिया चला गया था और उसका हैदराबाद में रहने वाले अपने परिवार से सीमित संपर्क था।
यूरोपीय महिला से रचाई शादी
रिपोर्ट के मुताबिक साजिद मूल रूप से हैदराबाद का रहने वाला था। इसमें हैदराबाद से बी.कॉम की डिग्री हासिल की और फिर रोजगार की तलाश में लगभग 27 साल पहले नवंबर 1998 में ऑस्ट्रेलिया चला गया। वहीं ऑस्ट्रेलिया में साजिद ने यूरोपीय मूल की एक महिला से शादी कर ली और ऑस्ट्रेलिया में बस गया। बयान के अनुसार, साजिद के दो बच्चे इसमें एक बेटा और एक बेटी शामिल हैं। इनमें से एक नवीद (24) बॉन्डी बीच के दो संदिग्ध हमलावरों में शामिल है।
इस्लामिक स्टेट से प्रेरित एक आतंकवादी हमला
रिपोर्ट के मुताबिक नवीद और उसकी बहन का जन्म ऑस्ट्रेलिया में हुआ था और दोनों वहीं के नागरिक हैं। सिडनी के बॉन्डी बीच पर पिछले हफ्ते यहूदी पर्व हनुक्का का जश्न मना रही भीड़ पर हुई गोलीबारी में 15 लोग मारे गए। ऑस्ट्रेलिया की संघीय पुलिस आयुक्त क्रिसी बैरेट ने मंगलवार को कहा कि यह गोलीबारी इस्लामिक स्टेट (IS) से प्रेरित एक आतंकवादी हमला था।
ऑस्ट्रेलियाई प्राधिकारियों के मुताबिक, गोलीबारी की घटना को अंजाम देने का संदेह एक पिता-पुत्र पर है। उन्होंने बताया कि पिता-पुत्र की पहचान साजिद अकरम और नवीद अकरम के रूप में हुई है। अधिकारियों के अनुसार, साजिद घटनास्थल पर पुलिस की कार्रवाई में मारा गया। वहीं नवीद गंभीर रूप से घायल हो गया था और उसका अस्पताल में इलाज किया जा रहा है।
ऑस्ट्रेलिया में बसने के बाद कितनी बार भारत आया साजिद?
तेलंगाना पुलिस ने कहा कि साजिद ऑस्ट्रेलिया में बसने के बाद 6 बार भारत आया था। वह पारिवारिक कारणों से भारत आया था। इनमें संपत्ति संबंधी मामले और बुजुर्ग माता-पिता से मुलाकात शामिल है। लेकिन बताया जाता है कि वह अपने पिता की मौत के समय भारत नहीं आया था।
पुलिस के मुताबिक, परिवार के सदस्यों ने कहा है कि उन्हें न तो साजिद की कट्टरपंथी सोच या गतिविधियों के बारे में और न ही उन परिस्थितियों के बारे में कोई जानकारी थी। जिनके कारण वह कट्टरपंथ की राह पर चल पड़ा। वजन पुलिस ने कहा, साजिद और उसके बेटे नवीद अकरम के कट्टरपंथी बनने के पीछे के कारण का भारत या तेलंगाना में किसी स्थानीय प्रभाव से कोई संबंध नहीं मालूम पड़ता है। साजिद के खिलाफ 1998 में भारत छोड़ने से पहले देश में रहने के दौरान कोई प्रतिकूल रिकॉर्ड नहीं मिला है। और साजिद ऑस्ट्रिया जाके बस गया था। हालांकि पुलिस हर दिन नए खुलासे कर रही है। मामले की चर्चा दुनिया भर में है। ऐसे में इस कार्रवाई पर सबकी नजरें टिकी है।


