गर्व! पंचायत सचिव का बेटा महज 22 साल में बना अफसर, पहली प्रयास में निकाली UPSC….

न्यूज डेस्क: “कौन कहता है कि आसमान में सुराख हो नहीं सकता एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारो” दुष्यन्त कुमार की इस पंक्ति को 22 साल के एक लड़के ने चरितार्थ किया है। इतनी कम उम्र में उन्होंने अपनी मेहनत और लगन के दम पर पहले ही प्रयास में यूपीएससी (UPSC) क्रैक कर रैंक हासिल की है। हाल ही में यूपीएससी ने इंजीनियरिंग सेवा परीक्षा का परिणाम जारी किया है। इसमें सारांश गुप्ता ने सिविल इंजीनियरिंग में 20वीं रैंक हासिल की है। आइए जानते हैं सारांश की इस सफलता के पीछे की कहानी।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सारांश मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले का रहने वाला है। उनके पिता संजीव गुप्ता पंचायत सचिव के पद पर कार्यरत हैं। जबकि मां गृहिणी हैं। इसके अलावा उनके बड़े भाई और बहन भी बैंक सेवाओं में हैं। मीडिया को दिए एक इंटरव्यू में सारांश बताते हैं कि उन्हें घर पर हमेशा पढ़ाई का माहौल मिला और परिवार का भरपूर सहयोग मिला।

आईआईटी से की पढ़ाई

सारांश को बचपन से ही पढ़ाई का शौक था। 12वीं के बाद उन्होंने जेईई मेन और जेईई एडवांस परीक्षा पास की और आईआईटी बीएचयू में दाखिला लिया। यहीं से उन्होंने सिविल इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी की। उनकी काबिलियत के कारण उन्हें पढ़ाई के दौरान ही नौकरी के ऑफर मिलने लगे।

रिपोर्ट्स के मुताबिक, उन्हें एक बड़ी प्राइवेट कंपनी ने 16 लाख रुपये के पैकेज पर नौकरी ऑफर की थी, लेकिन उनका सपना यूपीएससी आईईएस में जाने का था, इसलिए उन्होंने इस ऑफर को ठुकरा दिया। वह ग्रेजुएशन के बाद से ही परीक्षा की तैयारी में लगे हुए थे। उनकी अथक मेहनत का नतीजा था कि उन्होंने पहले ही प्रयास में परीक्षा पास कर ली।