इस बार नहीं पड़ेगी कड़ाके की सर्दी: क्या कहता है मौसम विभाग

सर्दियों ने इस बार हर साल की तरह भारत मे दस्तक दे दी है , तो ऐसे में लोगो के रज़ाई ओर कम्बल भी निकल चुके है पर हम आपको बता दे कि इस बार का मौसम जो कि सर्दियों का है वह पहले की सर्दियों के मुकाबले पूरे विश्व के स्तर पर ज़रा बढ़ा हुआ होगा मतलब की इस बार थोड़ा ज्यादा गर्म होगा मौसम विभाग के अनुसार इसमें 0.5 डिग्री से 1.5 डिग्री का फर्क आ सकता है।

ऐसे में यह बात सामने आ रही है कि दिसंबर से लेकर फरवरी के खत्म होने तक तापमान में बढ़ोतरी देखने को मिलने वाली है जिससे यह कहा जा रहा है कि इस बार की सर्दियां थोड़ी गरम लगने वाली है। विभाग का तो यह भी कहना है कि उत्तर के इलाकों को छोड़कर बाकी इलाकों के भी गर्म रहने के पूरे आसार हैं। भारतीय मौसम विभाग सर्दियों से जुड़ी जानकारी पिछले 3 साल से हर बार पेश करता आ रहा है जिसमे इसने शीत लहर का ज़िक्र करा है।

जानते हैं क्या है शीत लहर और कहाँ पनपती है?

इस बार की जो शीत लहर है यानी कि एक ठंडी हवा का झोंका जो तापमान को बहुत ही जल्दी गिराती है वह भी बढ़ी हुई है, आईये जानते है कौन से हैं ऐसे इलाके जहाँ उठते है यह ठंडी हवा के झोंके जम्मू, कश्मीर, लद्दाख, पंजाब , हरीयाणा, विदर्भ उत्तराखंड, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, सौराष्ट्र, छत्तीसगढ़, झारखंड, बिहार, पश्चिम बंगाल, तेलंगाना, दिल्ली, यह वह इलाके है जहाँ हवा के झोंके असर करते है तापमान गिरने में परन्तु इस बार की सर्दियों में ऐसा होना  नामुमकिन प्रतीत हो रहा है।

क्या कहते है एक्सपर्ट ये भी जान ले।

एम.राजीवन जो कि पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के सचिव है उनका कहना है कि यह जो आधे से एक डिग्री का तापमान बढ़ा है इसके बढ़ने का कारण ग्लोबल वार्मिंग है। इससे ग्लेशियर का हमेशा पिघलते रहना और प्रदूषित गैसों का वातावरण में बने रहना वह भी लंबे समय के लिए एक वजह है। सचिव का कहना है कि भारत के मध्य इलाकों ओर द्वीपों के पास के इलाकों में सामान्य तापमान से एक डिग्री सेल्सियस कम या ज़्यादा महसूस करने को मिल सकता है।