Begusarai News : बेगूसराय के मंझौल स्थित शताब्दी मैदान से एक हैरान कर देने वाली घटना सामने आई है। उपद्रवियों ने मंच के बगल में लगी शहीद अमरेश कुमार की प्रतिमा के पास स्थापित पत्थर की बंदूक को उखाड़कर तोड़ दिया। यह वही अमरेश हैं, जिन्होंने साल 2018 में छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले के कांकेर में नक्सलियों से लोहा लेते हुए अपने प्राण देश के नाम कर दिए थे।
शहीद के पिता उमेश सिंह की आँखें नम थीं। उन्होंने बताया कि पत्थर की बंदूक को मज़बूती से नट-बोल्ट से कसा गया था, लेकिन शरारती तत्वों ने उसे उखाड़कर नीचे पटक दिया और क्षतिग्रस्त कर दिया। घटना की सूचना पर मंझौल थाना पुलिस मौके पर पहुँची और क्षतिग्रस्त हिस्से को कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। लेकिन सवाल सिर्फ़ तोड़फोड़ का नहीं है, यह शहादत का अपमान है।
जिस मैदान में शहीद अमरेश की आदमकद प्रतिमा लगाई गई थी, वही मैदान अब बेगूसराय की अस्मिता और गुस्से का प्रतीक बन गया है। इलाके में लोगों का गुस्सा साफ झलक रहा है उनका कहना है कि यह सिर्फ़ पत्थर की मूर्ति नहीं, बल्कि एक शहीद की यादों और बलिदान का प्रतीक है। शहीदों की प्रतिमा पर हमला करना, पूरे समाज और देश की आत्मा पर चोट करने जैसा है।