भगवानपुर ( बेगूसराय) कहने को तो सुबे बिहार में नेक और ईमानदार छवि वाले सुशासन बाबू की सरकार है, लेकिन सरकारी योजनाओं में हो रही लूट को देखने वाला कोई नहीं है। लोगों का कहना यहां तक है कि सरकारी योजनाएं इसीलिए बनाई ही जाती है, ताकि उक्त योजना से संबंधित लोग विकास के नाम पर सरकारी राशि का बंदरबांट कर सके। ऐसे योजनाओं में बंदरबांट के कई समाचार क्षेत्र में हैं , लेकिन शुरूआत प्रखंड क्षेत्र के लखनपुर पंचायत के वार्ड संख्या एक स्थित वहियार में अवस्थित एक कुआं से की जा रही है, जिसके मरम्मत के नाम पर सरकारी राशि की गोलमाल की संभावना जताई जा रही है।
उक्त कुआं पहले से भी ज्यादा क्षतिग्रस्त नहीं था, उसमें सिर्फ पानी नहीं था, जिसकी उड़ाही कर पानी निकालना था। संबंधित जनप्रतिनिधि के द्वारा उड़ाही की जगह उसके लहर पर चार पांच रद्दा ईंट जोड़कर प्लास्टर कर दिया गया और योजना के अनुसार ऊपर से जाल लगा दिया गया जो तस्वीर में दीख भी रही है। उसके बाद दोनों तरफ पिलर नुमा ईंट का छोटा छोटा पाया खड़ा कर पाईप डाल दिया गया ताकि लोग उसमें रस्सी डाल कर कुआं से पानी निकाल सके, लेकिन मजे की बात यह है कि मरम्मत के दौरान न तो उड़ाही कर पानी निकाली गई और न ही बाल्टी और रस्सी की ही व्यवस्था की गई ताकि लोग इस कुआं से लाभ ले सके ।भादो में भी उक्त कुआं पानी बिन लोगों का मुंह चिढ़ा रही है।
लेकिन कुआं के दिवाल पर लिख दिया गया है 15 वीं वित्त आयोग टाईड मद से कुआं का मरम्मत जल जीवन हरियाली , फिर नाम पता जिसमें स्थानीय मुखिया सुरेन्द्र कुमार लिखा हुआ है। कुआं के पास छोटा सा अर्धनिर्मित पानी टंकी बना हुआ है,जिसकर अभी तक सिलाप भी नहीं डाला गया है। इधर मात्र चार माह पूर्व मरम्मत किये गये उक्त कुआं का दिवार,दिवार से सटा हुआ छोटा सा एक धाप का सीढ़ी तथा लहरा में पुरी तरह बड़े दरारें पर चुके हैं , जो लगता नहीं है कि चार माह पूर्व ही इसकी मरम्मती हुई है।
बकरी चराने वाले या फिर कृषि कार्य से वहियार आने वाले लोग वहां पहले से बैठते रहे हैं, लेकिन जीर्ण पीलर से अब दूर्घटना की भी संभावना जताई जा रही है। इसी तरह उक्त पंचायत के वार्ड संख्या 14 में अवस्थित कुआं का भी है जो मरम्मत के बाद भी स्वयं पानी के लिए लालायित है। उक्त पंचायत में कई कुआं का जीर्णोद्धार किया गया है, जिसमें भारी अनियमितता बरते जाने का आरोप लगाते हुए ग्रामीण इसकी निष्पक्ष जांच की मांग की है।