नाम वापसी की प्रक्रिया प्रारंभ होते ही बरौनी नगर परिषद क्षेत्र में चुनावी सरगर्मी हुई तेज

तेघड़ा (बेगूसराय) नगर परिषद बरौनी का मतदान प्रथम चरण 10 अक्टूबर को संपन्न होगा। जिसके तहत 21 सितंबर को स्कूटनी की प्रक्रिया संपन्न हुई। दो दिवसीय नाम वापसी की प्रक्रिया 22 सितंबर गुरुवार से प्रारंभ हुई है जो शुक्रवार को इसका समय सीमा समाप्त होगा।नामांकन वापसी के प्रथम दिन उप मुख्य पार्षद के प्रत्याशी अलीमा खातून ने अपना नाम वापस ली ।

इसके बाद अंतिम रूप से अभ्यार्थियों का सूची का प्रकाशन 25 सितंबर को होगा। और उसी दिन प्रत्याशियों के बीच चुनाव चिन्ह का भी आवंटन होगा। उधर सभी प्रत्याशी एवं समर्थक जोर शोर से तैयारी में जुट गए हें। यहां मुख्य एवं उप मुख्य पार्षद का पद पिछड़ा वर्ग अन्य होने से पूर्व से तैयारी में जुटे कुछ नामचीन हस्तियों के मंसूबे पर पानी फिर गया। मुख्य पार्षद पद पर 14 प्रत्याशियों ने अपना नामांकन करवाया है। जिसमें युवा प्रत्याशी के रूप में छात्र नेता नीतीश कुमार जो कि क्षेत्र संख्या 18 केजिला परिषद सदस्य शिव चंद्र महतो के पुत्र हें।

यह पूरे नगर परिषद क्षेत्र पूर्व के जिला परिषद क्षेत्र का पूरा हिस्सा रहा है जहां पिछले कई त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में शिव चंद्र महतो सामान्य सीट होने की वजह से मामूली मत से शिकस्त खाते रहे थे जिस क्षेत्र में इनका पहचान है। वही फुलवरिया दो के पूर्व मुखिया सह जदयू के प्रखर नेता मंजूर आलम अपनी सामाजिक सरोकार एवं व्यवहार कुशलता के आधार पर मैदान में हें। फुलवरिया 3 के पूर्व मुखिया संजीव कुमार अपनी लोकप्रियता के आधार पर लोगों के बीच संपर्क साधने में पीछे नहीं है। लवली कुमारी जो फुलवरिया 3 के पूर्व मुखिया चंदन कुमार के छोटे अनुज कुंदन कुमार की धर्मपत्नी भी चुनावी समर कि परिदृश्य बदलने की तैयारी में है। मोहम्मद शाहनवाज जो कि पूर्व जिला परिषद सदस्य सह राजद प्रखंड अध्यक्ष मोहम्मद सिकंदर अली के भाई हें पहली बार चुनावी मैदान में हें।

ये भी अपने भाई के संरक्षण में मैदान में आम मतदाताओं से संपर्क साध रहे हैं। शोकहारा दो के पूर्व मुखिया राजकुमार सिंह भी अपनी पहचान के बदौलत चुनाव लड़ रहे हें। मोहम्मद रियाज अख्तर जो जदयू नेता मेराज अख्तर दाना के छोटे भाई हे ये भी अपने भाई के संरक्षण में चुनावी मैदान में उतरे हें। वही संजीव कुमार भारती मंडल कारा से पुलिस अभिरक्षा में अपना नामांकन करवाया है इस बार वे जेल से ही चुनाव लड़ेंगे ये लंबे समय से सामाजिक आंदोलन के नेता के रूप में प्रचलित हैं। इसी पद से सुधा भारती भी अभ्यर्थी के रूप में हैं।

वहीं भारतीय जनता पार्टी से पूर्व सरपंच प्रशांत कुमार एवं राजनीति में हमेशा सक्रिय रही किरण देवी भी जनसंपर्क में जुटे हुए हें इसके अलावे संजय कुमार ,सुंदरलाल शर्मा एवं चंद्रशेखर आजाद भी चुनावी मैदान में मतदाताओं से संपर्क साधने में जुटे हुए हें।सभी उम्मीदवार अपने समर्थकों के साथ चुनावी समर में अपने – अपने ताकत की आजमाइश में लगे हें। अब देखना है 23 सितंबर अंतिम नाम वापसी की तिथि तक क्या परिदृश्य का नजारा सामने आता है। यही स्थिति कमोबेश अधिकतर वार्डों में है जहां एक ही दल और पार्टी से कई उम्मीदवार आमने-सामने एक दूसरे को चुनौती देते नजर आएंगे । चुनाव का समय जैसे-जैसे नजदीक आ रहा है क्षेत्र में चुनावी तापमान का पारा उसी रफ्तार में चढ़ने लगा है। कोई नगर के विकास तो कोई राजनीतिक और जातीय समीकरण को चुनावी फैक्टर मान रहा है