डेस्क : बाबा के ढाबा की किस्मत रातोंरात तब खुली जब एक सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर(गौरव वासन) द्वारा उस ढाबे की वीडियो इंटरनेट पर डाली गई। वीडियो डालने की अगली सुबह ढ़ाबे पर इतने लोग आए की बाबा का ढाबा के मालिक कांता प्रसाद लखपति हो गए। लेकिन शायद किस्मत को यह मंजूर नहीं था क्यूंकि कांता प्रसाद की जब किस्मत खुली तो उनका अहंकार भी बढ़ गया, जिसके चलते उन्होंने सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर यानी की जिस आदमी ने उनका वीडियो बनाकर उनको रातोंरात फेमस करवाया था, उस पर ही कांता प्रसाद ने अनेकों आरोप लगा दिए थे।
इसके बाद पुलिस आई और खूब हंगामा मचा। बाबा का ढाबा के मालिक कांता प्रसाद ने खूब सुर्खियां बटोरी थी। इसके बाद उन्होंने अपना खुद का रेस्टुअरंत भी खोल दिया था और एक वकील भी रख लिया था। बता दें की कोरोना के इस दौर में एक बार फिर से समय का चक्का घुमा है और कांता प्रसाद अपनी पुरानी जगह पर लौट आए हैं। बाबा का ढाबा के मालिक ने वह रेस्टुअरंत दिल्ली के पौष इलाके मालवीय नगर में खोला था। लेकिन ठीक ठाक बिक्री न होने के कारण ढाबा फरवरी में बंद हो गया।
जहाँ पर रेस्टुअरंत लगा था, वहां के महीने का किराया 1 लाख रुपये था। वहीँ बिक्री के नाम पर उनको सिर्फ 50,000 रूपए ही प्राप्त होते थे, इसमें तीन स्टाफ की 36000 सैलरी भी देनी थी। समय के साथ रेस्टुअरंत का खर्चा भी बढ़ गया, जिसके चलते वहां से भीड़ ख़त्म हो गई। बता दें की अब कांता प्रसाद का वही हाल हो गया है। उनकी कमाई भी ख़त्म हो गई है और ग्राहक भी उनके पास नहीं बचे हैं, रही-सही कसर कोरोना ने पूरी कर दी है। कोरोना के चलते उनका ढाबा 17 दिन बंद रहा। अब जहाँ उनकी कमाई 3500 रूपए थी वह घटकर 1000 रूपए हो गई है। कांता प्रसाद का कहना है यह बिलकुल भी सही नहीं हुआ क्यूंकि इससे हमारा गुज़ारा नहीं चलेगा।