अबकी बार मकर संक्रांति कब मनाई जाएगी 14 या 15 जनवरी – जानें किस दिन मनाया जाएगा मकर संक्रांति (2021) का पर्व

डेस्क : साल 2021 की शुरुवात हो चुकी हैं। इसके साथ ही शुरू हो चुका है कभी न खत्म होने वाला पर्वों का सिलसिला। साल की शुरुआत होगी मकर संक्रांति (Makar Sankranti 2021) के महापर्व से। हिन्दू धर्म में मकर संक्रांति का त्योहार विशेष महत्व रखता है। इस साल ये पर्व 14 जनवरी को मनाया जाएगा।पौराणिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन को नए फल और नए ऋतु के आगमन के लिए मनाया जाता है। जब सूर्य देव मकर राशि पर प्रवेश करते हैं तब मकर संक्रांति का पर्व मनाया जाता है।

इस दिन लाखों श्रद्धालु गंगा और अन्य पावन नदियों के तट पर स्नान और दान, धर्म करते हैं। हिंदू धार्मिक मान्यतों के अनुसार मकर संक्रांति के दिन भगवान विष्णु ने पृथ्वी लोक पर असुरों का वध कर उनके सिरों को काटकर मंदरा पर्वत पर गाड़ दिया था। तभी से भगवान विष्णु की इस जीत को मकर संक्रांति पर्व के तौर पर मनाया जाने लगा। वहीं माना जाता है कि भगवान श्री कृष्ण ने कहा था कि जो मनुष्य इस दिन अपने देह को त्याग देता है तो उसे मोक्ष की प्राप्ती होती है।

मकर संक्रांति पूजा विधि कुछ इस प्रकार से होती है।इस दिन सुबह जल्दी उठकर नदी में स्नान करना जरूरी होता है। इसके बाद नहाकर साफ वस्त्र पहनने होते हैं। एक साफ चौकी लेकर उस पर गंगाजल छिड़कें और लाल वस्त्र बिछाएं। चौकी पर लाल चंदन से अष्टदल कमल बनाएं। सूर्यदेव का चित्र या तस्वीर चौकी पर स्थापित करें। सूर्यदेव के मंत्रों का जाप करें। सूर्यदेव को तिल और गुड़ से बने हुए लड्डुओं का भोग लगाएं।

मकर संक्रांति पर्व के दौरान एक विशेष परंपरा भी सदियों से चली आ रही है। यह परम्परा मकर संक्रांति पर तिल और गुड़ से बने लड्डू और अन्य मीठे पकवान बनाने की है।साथ ही इसके पीछे यह महत्व भी है कि इस समय मौसम में काफी सर्दी होती है, तो तिल और गुड़ से बने लड्डू खाने से स्वास्थ्य ठीक रहता है।