जनरल बिपिन रावत का जीवन संगिनी संग आख़िरी अलविदा, दी गयी 17 तोपों की सलामी

डेस्क : 9 दिसंबर को पूरे देश को ऐसे क्षति हुई है जिसकी भरपाई कभी नहीं की जा सकती। देश के प्रथम चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत और उनकी पत्नी मधुलिका रावत समेत 11 अन्य जवान ( जिनमें ब्रिगेडियर, नायक, लांस नायक और कुछ जवान मौजुद थे) तमिलनाडु में एक विमान हादसे का शिकार हो गए 14 लोगों में से 13 लोगों की मृत्यु हो गई।

जनरल बिपिन रावत कोयंबटूर के पास सुलूर में भारतीय वायु सेना के अड्डे से वेलिंगटन में डिफेंस स्टाफ कॉलेज जा रहे थे। तमिलनाडु में विमान क्रैश में शहीद हुए CDS जनरल बिपिन रावत और उनकी पत्नी समेत 12 अन्य जवानों को आज श्रद्धांजलि दी गई और उनका अंतिम संस्कार किया गया।

जनरल बिपिन रावत का पार्थिव शरीर उनके आवास से बरार स्क्वायर ले जाया गया जहां करीब शाम 5 बजे उनका अंतिम संस्कार किया गया। उन्हे इस दौरान 800 जवान की मौजूदगी में उन्हें 17 तोपों की सलामी दी गई।

दोनों बेटियों कृतिका और तरिणी ने पूरे रीति रिवाज से अपने माता- पिता का अंतिम संस्कार किया, जहाँ सबकी आंखों में नमी थी।भारत के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल रावत और उनकी पत्नी के शवों को अंतिम संस्कार की चिता पर अगल-बगल रखा गया।जैसे ही आग की लपटें उठीं, जनरल रावत को 17 तोपों की सलामी दी गई।

सेना के जवान राष्ट्रीय ध्वज लहराते हुए और ‘भारत माता की जय’ और ‘जनरल रावत अमर रहे’, या ‘जनरल रावत हमेशा जीवित रहेंगे’ के नारे लगा रहे थे।भुट्टान, श्री लंका, इजराइल, ऑस्ट्रेलिया, चीन, पाकिस्तान सभी देशों ने इस घटना के बाद श्रद्धांजलि दी।

जनरल बिपिन रावत एक भारतीय सैन्य अधिकारी थे जो भारतीय सेना के चार स्टार जनरल थे। उन्होंने जनवरी 2020 से दिसंबर 2021 में एक हेलीकॉप्टर दुर्घटना में अपनी मृत्यु तक भारतीय सशस्त्र बलों के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ के रूप में कार्य किया।