Privatisation : रतन टाटा के हाथों बिकने जा रही ये बड़ी सरकारी कंपनी, जानें – कितने करोड़ में म‍िला माल‍िकाना हक..

डेस्क : सरकारी कंपनी को निजीकरण करने का सिलसिला जारी है। इस कड़ी में एयर इंडिया के निजीकरण होने बाद अब एक ओर सहकारी कंपनी का निजीकरण किया गया है। दरअसल एयर इंडिया के अब सरकारी कंपनी नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड (NINL) भी टाटा ग्रुप ने खरीद लिया है। इसकी पुष्टि वित्त मंत्रालय की ओर से की गई है।

मालूम हो कि इससे पहले एयर इंडिया का निजीकरण हुआ था। जिसके बाद दूसरा निजीकरण नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड (NINL) हुआ है। मौजूदा सरकार में यह दूसरा निजीकरण है। यह दोनों कंपनी टाटा ग्रुप के हाथ में गया है। टाटा समूह के टाटा स्टील लॉन्ग प्रोडक्ट्स (टीएसएलपी) ने घाटे में चल रहे एनआईएनएल के लिए 12,100 करोड़ रुपये की बोली लगाई। कंपनी का रिजर्व प्राइस 5,616.97 करोड़ रुपये था। बोली इससे दोगुने से लगाई गई।

वित्त मंत्रालय की ओर से जारी एक बयान में कहा गया कि रणनीतिक खरीदार टीएसएलपी को 93.71 फीसदी शेयर ट्रांसफर करने के साथ एनआईएनएल का रणनीतिक विनिवेश सौदा संपन हुआ। एनआईएनएल चार सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों एमएमटीसी, एनएमडीसी, भेल और मेकॉन के अलावा दो ओडिशा सरकारी इकाइयों ओएमसी और एपिकॉल के बीच एक संयुक्त उद्यम है।

नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड कंपनी में MMTC की सबसे अधिक 49.78 प्रतिशत हिस्सेदारी है। एनएमडीसी की 10.10 फीसदी, भेल की 0.68 फीसदी और मेकॉन की 0.68 फीसदी हिस्सेदारी है। ओडिशा सरकार की कंपनियों के पास क्रमश: 20.47 फीसदी और 12 फीसदी हिस्सेदारी थी। टाटा समूह की कंपनी एनआईएनएल के लिए बोली में विजयी होने के बाद 10 मार्च को शेयर खरीद समझौते पर हस्ताक्षर हुए थे।