देश : श्रम सुधार के लिए देश में केंद्र सरकार जल्द ही 4 नए लेबर कोड लागू करने वाली है। लोकसभा में श्रम राज्यमंत्री रामेश्वर तेली ने इसकी लिखित जानकारी दी है। अलग-अलग कोड्स पर कई राज्यों ने अपनी सहमती दे दी है। इसके बाद अब केंद्र सरकार जल्दी ही इसे लागू कर सकती है।
अब नए लेबर कोड्स के लागू होने के बाद कर्मचारियों की सैलरी, छुट्टी, प्रोविडेंट फंड और ग्रेच्युटी में भी बदलाव आएगा। वहीं इसके तहत काम करने के घंटे और हफ्ते के नियम में भी बदलाव होने की उम्मीद है। फिर ग्रेच्युटी के लिए कर्मचारियों को किसी संस्थान में 5 साल लगातार नौकरी की बाध्यता नहीं रहेगी। अब तक सरकार ने इसका ऐलान नहीं किया है, लेकिन ये नियम नए लेबर कानून लागू होते ही लागू हो जाएगा।
अभी किसी भी संस्थान में ग्रेच्युटी के नियम के तहत 5 साल पूरे करने पर ही ग्रेच्युटी बनती है। जिसके तहत 5 साल पूरा होने के बाद आप जिस दिन कंपनी छोड़ते हैं उस महीने में आपकी जितनी सैलरी होगी उसके आधार पर ग्रेच्युटी का कैलकुलेशन किया जाता है। जैसे किसी कर्मचारी ने अगर एक कंपनी में 10 साल काम किया और आखिरी महीने में उसके अकाउंट में 50 हजार रुपये आते हैं। अब यदि उसकी बेसिक सैलरी 20 हजार रुपये है। उसके 6 हजार रुपये डियरनेस अलाउंस है। तब उसके ग्रेच्युटी का कैलकुलेशन 26 हजार जो कि बेसिक और डियरनेस अलाउंस के आधार पर होगा।
लोकसभा में दाखिल ड्राफ्ट कॉपी में दी गई जानकारी के अनुसार, कोई भी कर्मचारी किसी जगह एक साल नौकरी करता है तब वह ग्रेच्युटी का हकदार हो जाएगा। सरकार ने फिक्स्ड टर्म कर्मचारियों यानी कि अनुबंध पर काम करने वालों के लिए भी व्यवस्था की है। कोई व्यक्ति अगर किसी कंपनी के साथ अनुबंध पर एक वर्ष की निश्चित अवधि के लिए काम करता है, तब उसे ग्रेच्युटी मिलेगी। आपको बता दें कि Gratuity एक्ट 2020 का फायदा सिर्फ फिक्स्ड टर्म कर्मचारियों को मिलेगा।