डेस्क : कोरोना संक्रमण के काल में नीतीश सरकार ने बड़ा और अहम् फैसला सुनाया है जिसमें स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार को हटाकर पर्यटन विभाग के प्रधान सचिव उदस सिंह कुमावत को स्वास्थ्य विभाग की जिम्मेवारी सौंप दी है। सरकार ने यह फैसला आनन-फानन में स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव को हटाने के लिए लिया है। यह फैसला किन परिस्थितियों में और क्यों लिया गया यह साफ़ नहीं हो सका है।
प्रवासी मजदूरों के घर जाने की गतिविधि में इजाफा आया है। जिसके कारण अब बिहार में कारण्टीन की सुविधा को बढ़ा दिया गया है। ऐसे में अब 21 दिनों का कारण्टीन तय करा गया है। कारण्टीन सेंटर से जो भी आये दिन गलत खबरे मिल रही हैं जिसमें स्वास्थय विभाग की शिकायत आ रही है, ऐसे में सरकार का स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार को आनन-फानन में हटाने के पीछे क्या वजह रही फिलहाल इस बारे में जानकारी नहीं मिल पाई है।
आपको बता दें की 1990 के बैच आईएएस अधिकारी संजय कुमार दो साल पहले झारखंड से वापस बिहार को आए थे। बिहार आने के बाद उन्हें स्वास्थ्य विभाग का जिम्मा दिया गया था और कोरोना महामारी के बीच लगातार सोशल मीडिया के जरिए तमाम आंकड़े जारी कर रहे थे। लेकिन इसी दौरान उन्हें पर्यटन विभाग की जिम्मेवारी सौंप दी गई।
बिहार में कितनी बढ़ी कोरोना संक्रमितों की संख्या
बिहार में कोरोना वायरस के संक्रमितों की संख्या में 60 नये मामले प्रकाशित हुयें हैं। यह मामले आने के साथ प्रदेश में कोविड-19 से संक्रमित रोगियों की संख्या बढ़कर 1,579 हो चुकी है। बीती हुई रात में प्रधान सचिव संजय कुमार ने बुधवार को बताया कि कोरोना वायरस संक्रमण के प्रकाश में आए 60 मामलों के बारे में रिपोर्ट आज सुबह मिली है। यह एक चिंता जनक बात है। अब इनकी वजह से खगड़िया के 15, भागलपुर के 12, बांका के 11, नालंदा, मधुबनी एवं दरभंगा के छह-छह, सुपौल के दो, कटिहार एवं गोपालगंज के एक—एक मामले शामिल हैं
अगर बात करें कुल मामलो की तो आंकड़े इस प्रकार हैं।
मुंगेर में 133, रोहतास में 91, बेगूसराय में 82, मधुबनी में 79, नालंदा में 78, खगड़िया में 70, बक्सर एवं गोपालगंज में 64—64, भागलपुर में 59, जहानाबाद में 58, बांका में 51, सिवान में 45, कैमूर में 44, नवादा में 41, भोजपुर में 38, कटिहार में 35, पूर्णिया में 31, मुजफ्फरपुर में 30, सुपौल में 27, औरंगाबाद में 26, पश्चिम चंपारण में 25, शेखपुरा में 24, दरभंगा एवं सहरसा में 22—22, मधेपुरा में 20, पूर्वी चंपारण में 19, अरवल में 17, समस्तीपुर में 16, वैशाली एवं जमुई में 15—15, लखीसराय, किशनगंज एवं सारण में 14—14, गया में 11, सीतामढ़ी में नौ, शिवहर में पांच तथा अररिया में चार मामले हैं।