इसी साल की शुरुवात में बिहार की राजधानी पटना में ग्रेजुएट चायवाली के नाम से प्रियंका गुप्ता ने खूब सुर्खियां बटोरी थीं। उनके चाय के स्टॉल के नाम से भी उन्हें खूब नाम मिला था और वो इलाके में बहुत चर्चित हुई थीं। जिससे उनके चाय के बिजनेस पर भी चार चांद लगे थे।
लेकिन अब वही ग्रेजुएट चाय वाली मुसीबतों से घिर गईं हैं। पटना नगर निगम ने उनकी स्टॉल पर कार्यवाई की है। उनकी स्टॉल को नगर निगम द्वारा ध्वस्त कर दिया गया। जिस दौरान प्रियंका रोती हुई नजर आईं। दरअसल, अतिक्रमण हटाओ अभियान के तहत पटना नगर निगम ने प्रियंका के दुकान को JCB से उठाकर जब्त कर लिया। जिस दौरान उनके आंखों से आंसू झलक गए। जिसके बाद अपनी दुकान को बचाने की गुहार लगाते हुए प्रियंका उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के पास पहुंची हैं।
प्रियंका गुप्ता ने कहा कि उसे निगम के डिप्टी कमिश्नर ने आश्वासन दिया था और उसने स्टॉल का लाइसेंस भी लिया है. प्रियंका गुप्ता ने बताया की डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने मिलने के बाद उनसे कहा है कि आप मेरे नाम से एक आवेदन लिखकर दीजिए फिर आगे देखते हैं.
इसी सिलसिले में प्रियंका ने राजद सुप्रीमो से भी मुलाकात की। प्रियंका ने मीडिया को बताया कि डिप्टी कमिश्नर ने उन्हें आश्वासन दिया था कि उनके स्टॉल को कोई नहीं हटाएगा। फिर भी उनकी दुकान पर अतिक्रम हटाओ अभियान के तहत कार्यवाही की गई।
प्रियंका ने ये भी बताया कि उन्होंने नगर निगम के अधिकारियों से गुजारिश भी की थी उन्हें कुछ समय का मोहलत दे दिया जाए ताकि वो अपने स्टॉल को दुकान में तब्दील कर पाए। लेकिन तब भी उनका स्टॉल हटा दिया गया।
उन्होंने कहा, ‘लोग कहते हैं कि ग्रेजुएट चाय वाली तीन लाख रुपये कमाती है लेकिन मेरा उस हिसाब से खर्च भी होता है। मैं तीन लाख रुपये महीने का नहीं कमाती क्योंकि मार्केट डाउन चला गया है।’
मालूम हो कि बिहार के पूर्णिया जिले की रहनी वाली प्रियंका गुप्ता ने वाराणसी के महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ से कॉमर्स में स्नातक किया है। स्नातक यानी ग्रेजुएशन पूरा होने के बाद उन्होंने सरकारी नौकरी की तैयारी की। पर जब उन्हें सफलता हाथ नहीं लगी तो उन्होंने चाय का बिजनेस शुरू कर दिया।
आपको बता दें अपनी दुकान से प्रियंका ने खूब सुर्खियां बटोरी। अब तक उनकी दुकान पर साउथ फिल्मों के सुपरस्टार विजय देवरकोंडा और भोजपुरी फिल्मों की स्टार अक्षरा सिंह भी चाय पीने पहुंच आ चुकी हैं।