वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने तीसरे दिन किसानों के लिए की बड़ी घोषणाएं

डेस्क : वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने तीसरे चरण के पैकेज का ऐलान कर दिया है। 20 लाख करोड़ रुपए का यह पैकेज खेती -किसानी, मछुआरों और इससे जुड़े कामकाज में लगे लोगों के लिए है। इस पैकेज से किसानों को क्या-क्या फायदा मिलेगा आइए जानते हैं विस्तार से

1. निर्मला सीतारमन ने ऐलान किया कि एक लाख करोड़ रुपए एग्री ग्रेड्स, एफपीओ फार्मर प्रोड्यूसर को दिया जाएंगे ताकि गोदाम, स्टोरेज सेक्टर बनाने में इस्तेमाल किया जाएगा। किसान निर्यात में मदद करते हैं लेकिन भंडारी की कमी और संवर्द्धन के लिए एक लाख करोड़ रुपए का फंड दिया जाएगा। इससे कीमत बढ़ाने में भी मदद मिलेगी और किसानों की आय भी बढ़ेगी।

2. माइक्रो फुड एंटरप्राइजेज के लिए सरकार 10,000 करोड़ रुपए का पैकेज दिया है. इसमें स्थानीय कंपनियों को सपोर्ट किया जाएगा. जैसे बिहार का मखाना यूपी के आम, जम्मू कश्मीर के केसर जैसे खेती में कलस्टर बनाया जाएगा.इससे किसानों की आमदनी भी बढ़ेगी।

3. प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत मछुआरों की मदद के लिए 11,000 करोड रुपये दिए जा रहे हैं. इससे 55 लाख से ज्यादा रोजगार बढ़ेंगे। वही हर्बल कल्टीवेशन के लिए 4 हजार करोड़ रुपए का फंड दिया जा रहा है. नेशनल मेडिसिनल प्लांट स्पोर्ट्स 25 लाख लाख हेक्टेयर में इसकी खेती होगी इसे किसानों को 5000 करोड़ की आमदनी होगी. जन औषधि की खेती करने के साथ उसका नेटवर्क किया जा रहा है।

4. मधुमक्खी पालन करने वाले किसानों के लिए 500 करोड़ रुपये का पैकेज दिया जा रहा है. ग्रामीण इलाकों में जो लोग मधुमक्खी पालन करते हैं उन्हें इससे सपोर्ट मिलेगा. 2 लाख मधुमक्खी पालन करने वाले लोगों की आमदनी बढ़ेगी।

5. TOP यानी टमाटर, प्याज और आलू खेती के लिए जो सपोर्ट दिया जा रहा था उसे अब बढ़ाकर बाकी फल सब्जियों को भी दिया जाएगा. माल ढुलाई पर 50 फ़ीसदी और कोल्ड स्टोरेज में रखने पर 50 फ़ीसदी की सब्सिडी दी जा रही है. इसके लिए 500 करोड रुपए दिए गए हैं।

सीतारमन ने कहा कि देश की ज्यादातर आबादी खेती से जुड़ी हुई है लिहाजा उस सेक्टर पर फोकस करना जरूरी है। कृषि और उससे जुड़े कामकाज के लिए आज का पैकेज जारी किया जा रहा है। सीताराम ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान ऐसे प्रावधान किए ताकि रबी फसल की कटाई हो सके. इसके साथ ही सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान रखते हुए प्रोक्योरमेंट भी किया जा रहा है. पिछले 2 महीनों में लॉकडाउन के दौरान कृषि को सरकार ने सपोर्ट किया है।