पटना : बिहार प्रदेश युवा कांग्रेस ने भाजपा की वर्चुअल रैली के खिलाफ बिगुल फूंक दिया। प्रदेश अध्यक्ष गुंजन पटेल की नेतृत्व में युवा कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने पटना सहित राज्य के कई जिलों में काले रंग के गुब्बारे उड़ाए एवं भाजपा की संवेदनहीनता के खिलाफ ऐलान ए जंग किया। इस मौके पर प्रदेश अध्यक्ष गुंजन पटेल ने कहा कि भाजपा मजदूरों की हत्यारी है। ज्योति और सुनीता के आंसूओं को पोंछने और दर्द बांटने के बजाय भाजपा द्वारा चुनावी रैली करना बेहद ही दुर्भाग्यपूर्ण है। ज्ञात है कि इस महामारी ने सबसे ज्यादा कष्ट बिहारी प्रवासी श्रमिक एवं मजदूरों को पहुंचाया है। लेकिन भाजपा ने इन्हें सडक़ों पर लाकर भगवान भरोसे छोड़ दिया। अगर अमित शाह में हिम्मत है और सच में मजदूरों की हितैषी है तो उन मजदूरों के बीच जाकर दिखाएं। बिहार की जनता ने इस डबल इंजन वाली सरकार का चेन खींचने का मन बना लिया है और यह वर्चुअल रैली भी अब उन्हें नहीं बचा पाएगी।
इस अवसर पर सोशल मीडिया पर भी युवा कांग्रेस का अभियान जमकर वायरल होता रहा। लाखों कार्यकर्ताओं एवं आम लोगों ने अपना प्रोफाइल पिक्चर काला कर विरोध दर्ज कराया एवं तेरह साल तड़पता बिहार नारे को बुलंद किया। इस मौके पर प्रदेश उपाध्यक्ष कुमार रोहित, कृष्ण हरी मुकुल यादव बिट्टू यादव मुदस्सीर सम्स अरफराज साहिल सहित कई युवा कांग्रेस के कार्यकर्ता उपस्थित थे।
किस बात का जश्न मना रही है जनता युवा बिहार कोंग्रेस नेता ललन कुमार ने बीजेपी पर जमकर बरसे बिहार युवा कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ललन कुमार ने केंद्र की नरेन्द्र मोदी सरकार के छह वर्ष पूरा होने पर जक्ष मनाने और सोशल मीडिया के जरिए वर्चुअल रैली के आयोजन को भाजपा के नेताओं की असवेदनशीला का प्रमाण बताया है। श्री कुमार ने बुधवार को यहां कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर 2 लाख संक्रमित 217 लोगो की मौत जबकि बिहार में अबतक लगभग चार हजार लोग कोरोना से संक्रमित है और 24 लोगों की मोत हो चुकी है तथा लॉक डाउन की वजह से सडक़ और ट्रेन हादसे मे 80 श्रमिको की मौत हुई है । इस तरह की स्थिति में मोदी सरकार के छह साल पूरे होने पर जश्न मनाने तथा क्षीण अमित शाह की वर्चुअल रैली करने का फैसला जनता खासकर गरीबों क्षमिको के प्रति उसके असंवेदनशील होने का प्रमाण है।
लालन कुमार न भाजपा से पूछा कि आखिर किस बात का वह जक्ष मनाना चाहती है। पिछले छह वषो मे देश में सरकार के फैसलों से गरीबी एमजदूरों, किसानो, छात्रों, मध्यम वर्ग ,निम्न मध्यम वर्ग के लोगो पर लगातार चोट किया गया है। मंहगाई और बेरोजगारी बढ़ी है तथा आम लोगों को अनेकों कठिनाई का सामना करना पड़ा है क्या अमित शाह समेत उसके अन्य नेता वर्चुअल रैली के माध्यम ऐसे लोगो की तकलीफों पर नमक छिडकऩा चाहते है। ललन कुमार ने कहा कि भाजपा नेताओं को ऐसी महामारी से उत्पन्न सिथति में राजनीतिक भाषणों के बजाय बिहार के गरीबों, प्रवासी श्रमिको,बेरोजगार युवकों के रोजगार के उपाय-प्रबंध और उनके खाते में तत्काल 10 हजार रूपये भेजने की व्यवस्था करनी चाहिए थी। उन्होंने कहा कि लोगों की तकलीफें कम करने के बजाए जक्ष मनाना और भावी चुनाव को ध्यान में रखकर भाषणबाजी को लोग अब बर्दाशत नही करने वाली है।