डेस्क : MLA नंदकिशोर यादव के गैर सरकारी प्रस्ताव पर उद्योग मंत्री “शाहनवाज हुसैन” ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि प्रदेश में जल्द ही नई कपड़ा नीति लाई जाएगी. इसका draft अब अंतिम चरण में है। उसके बाद इसे cabinet द्वारा पारित किया जाएगा। इस नीति की मदद से पटना शहर सहित कुछ अन्य शहरों में फिर से कपड़ा यानि textile उद्योग स्थापित किए जाएंगे। विशेष रूप से गंजी, अंडरवियर सहित Readymade garments के उद्योग स्थापित किए जाएंगे।
Textile कंपनियों में 86% लोग बिहार से ताल्लुक रखते हैं : उन्होंने कहा कि कोरोना के दौरान अन्य राज्यों से लौटे सभी श्रमिकों में से 86 प्रतिशत लोग कपड़ा कंपनियों में काम कर रहे थे. इससे राज्य में बड़े पैमाने पर श्रमिकों को रोजगार मिलेगा। शाहनवाज हुसैन ने कहा कि बिहार से बाहर textile उद्योग से जुड़े प्रवासी बिहारी चाहे मजदूर हों या मालिक, सभी से बात कर रहे हैं और उनका मन बिहार आकर काम पर लगाया जा रहा है. बिहार सरकार investors को हर सुविधा देने को तैयार है जिसके लिए एक अप्रैल से नई व्यवस्था भी लागू की जा रही है।
मिट्टी कला बोर्ड स्थापित करने का प्रयास करेगी सरकार : उद्योग मंत्री शाहनवाज हुसैन ने विधान परिषद में समीर कुमार सिंह के प्रश्न के उत्तर में कहा कि सरकार माटी कला बोर्ड गठित करने का प्रयास करेगी. इसके लिए एक committee का गठन किया गया है। इसकी report जल्द आएगी। मंत्री ने कहा कि उपेंद्र महारथी संस्थान में 14 शिल्पों सहित मृदा यानि मिट्टी कला से जुड़े कामगारो को training दिया जा रहा है.
अच्छे कंबल बनाने के लिए कामगारों को मिलेगा training : रामचंद्र पूर्वे के अल्प सूचना प्रश्न के उत्तर में कहा गया है कि बिहार में भी श्रमिकों को बेहतर कंबल बनाने का training दिया जाएगा. इतना ही नही,साथ ही यह कोशिश भी होगी कि बिहार के बने कंबल दूसरे राज्यों में भी जाएं. उन्होंने कहा कि बिहार का कंबल आज भी लोगों की पहली पसंद है लेकिन इसकी उचित Branding और आपूर्ति के अभाव में श्रमिकों को लाभ नहीं मिल पा रहा है और सरकार इस दिशा में काम कर रही है।