किसान का बेटा आकाशदीप बना आर्मी में लेफ्टिनेंट – पासिंग परेड में वर्दी देख माँ के छलक गए आँसू

डेस्क : देश के के नौजवान आजकल ऐसी जगह अपनी जवानी खर्च कर रहे हैं जिसका कोई मतलब नहीं है वहीं कुछ नौजवान ऐसे भी हैं जो पूरे होश और हवास में अपनी जवानी देश के लिए न्योछावर करना चाहते हैं जिसमें सबसे पहले बिहार के बच्चे आते हैं आपको बता दें कि बिहार के नालंदा से आकाशदीप

इस वक्त भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट बन गए हैं लेफ्टिनेंट का पद एक आधिकारिक पद होता है। लेफ्टिनेंट बनने के बाद वह सैन्य अधिकारी कहलाया जाता है। आकाशदीप नालंदा के अस्थांवा प्रखंड शहवाजपुर गांव से हैं उनकी माताजी गृहणी है और उनके पिताजी किसान हैं जो खेत में काम करते हैं। हर मां-बाप की तरह उन्होंने भी अपने बच्चे को बिहार की राजधानी पटना में पढ़ने के लिए भेजा था। पांचवी तक उन्होंने पटना में रहकर पढ़ाई की लेकिन इसके बाद उन्होंने सैनिक स्कूल जॉइन कर लिया और अपनी 12वीं तक की पढ़ाई सैनिक स्कूल से पूरी की। इसके बाद 2016 में उन्होंने एनडीए ज्वाइन कर लिया और उसके बाद 2020 में वह लेफ्टिनेंट के पद पर विराजमान हो गए। हाल ही में पासिंग आउट परेड हुई जिसमें उनके मां-बाप मौजूद थे और अपने बच्चे को परेड का नेतृत्व करता देख उनके आंसू छलक गए।

यह पासिंग परेड गया के ओटीए में आयोजित की गई थी जहां पर अनेकों भारतीय सेना के कैडर मौजूद थे और जब आकाशदीप के माता-पिता यहां मौजूद थे तो तालियों की गड़गड़ाहट से पूरा मैदान गूंज उठा और जब परेड के अंतिम कदमों पूरे हुए, तो लेफ्टिनेंट आकाशदीप अपनी मां से जाकर लिपट गए उस दौरान मां की आंखों में जो खुशी के आंसू छलके उसको देख कर लोग भावुक हो गए।

जब आकाशदीप से पूछा गया कि उनकी सफलता का राज क्या है तो उन्होंने कहा कि शुरू से ही अपने लक्ष्य को साफ रखना चाहिए क्योंकि लक्ष्य साफ रहेगा तो लक्ष्य को हासिल करने वाला कभी भटकेगा नहीं हालांकि इस रास्ते में परेशानियां बहुत आएँगी लेकिन सफलता जरूर कदम चूमेगी। इस वक्त आकाशदीप की सफलता से सभी गांव वाले और जिले के लोग बेहद ही खुश हैं और सब को अपने बिहार के नौजवानों पर गर्व है। साथ ही मां भारती की रक्षा के लिए किस तरह से नौजवान आगे आ रहे हैं इससे सब को प्रेरणा लेनी चाहिए।