डेस्क : सरकार ने विपक्ष की मांग पूरी कर दी है पीएम केयर्स फंड का ऑडिट करने की जिम्मेदारी अब दिल्ली के एक फार्म को मिल गया है। लाइव मिंट की खबर के मुताबिक दिल्ली स्थित चार्ट्स अकाउंटेंसी फॉर्म (SARC & Associates) प्रधानमंत्री की नागरिकता सहायता और आपातकालीन स्थिति पीएम केयर्स फंड का ऑडिट करेगा. इसे 3 साल के लिए नियुक्त किया गया है. फंड पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्नों के सेट में दिए गए विवरण के अनुसार इस वित्तीय वर्ष के अंत में पीएम केयर्स फंड का ऑडिट किया जाएगा।
विपक्ष के दल इस पर सवाल भी उठाए हैं पीएम केयर्स पर ट्वीट को लेकर सोनिया गांधी खिलाफ F.I.R भी दर्ज भी हुई है क्योंकि आलोचकों ने राहत कार्यों के लिए प्रधानमंत्री राहत कोष के अलावा बने इस पीएम केयर्स फंड के औचित्य पर भी सवाल उठाया है। विपक्षी दल इस निधि से धन के उपयोग के बारे में अधिक पारदर्शिता की लगातार मांग कर रहे हैं। फंड की वेबसाइट पर पर पोस्ट किए गए FAQS में यह कहा गया है कि यह दो अधिकारियों द्वारा मानद आधार पर प्रधानमंत्री कार्यालय में प्रशासित किया जा रहा है। पिछले कुछ वर्षों से धर्मार्थ ट्रस्टो को नियंत्रित करने वाले नियमों को कड़ा कर दिया गया ताकि प्राप्त धन का उपयोग उद्देश्य के लिए हो।
विभाग ने लेखा परीक्षा रिपोटरो में ट्रस्ट के डिस्क्लोजर की आवश्यकता को भी बढ़ाया है। कंपनियों ने पीएम केयर्स फंड में दिल खोलकर दान 4,316 करोड रुपये दानी दिया है।पीएम केयर्स फंड में दिए गए योगदान को आयकर से मुक्त रखा गया है इसमें दिए गए दान की रकम का इनकम टैक्स से100 फ़ीसदी छूट मिलेगी। यह इनकम टैक्स कानून के सेक्शन 80G के तहत मिलेगी, पीएम केयर्स फंड को भी FCRA के तहत छूट मिली है और विदेशों से धन प्राप्त करने के लिए अलग से खाता खोला गया है. इसमें विदेशों में स्थित व्यक्ति और संगठन भी दान दे सकते हैं।