वायरल सन्देश : कोरोना वायरस से पूरी दुनिया वाकिफ है, किस तरह ये फैलता है यह भी आप और हम बखूबी जानते हैं। कोरोना वायरस के मास्क को लेने के लिए लोगो की भीड़ भी बहुत ज्यादा है पर पर्याप्त मात्रा में मास्क उपलब्ध नहीं है। इसके चलते छत्तीसगढ़ बस्तर के इलाके के लोग पत्तों का मास्क बनाकर पहने दिखाई दे रहे है। यह लोग आदिवासी श्रेणी के हैं। जिनके पास हमेशा से साधनो की कमी रही है। साधनो की कमी के चलते ही उन्होंने पत्तों का मास्क बनाकर इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है।
कांकेर जिले के अंतागढ़ में जब सभा बुलाई गई तो इस दौरान वहाँ पर शिरकत करने आये लोग मास्क पहनकर आये हुए थे। और इसकी देखा देखी में गाँव के अन्य लोग भी मास्क लगाकर घूमने लगे। यहाँ लोग घरों के बाहर भी नहीं निकल रहे है और किसी बाहरी के आने जाने पर भी रोक लगी हुई है। इसपर डॉक्टरों का कहना है की यह मास्क ठीक तो है बिमारी से बचने के लिए पर इससे सांस लेने में तकलीफ हो सकती है। परन्तु आदिवासी लोगो के ज्ञान की दात देनी होगी।
सरकार के अनुसार उनको यही सलाह मान लेनी चाहिए की वह घर पे ही रहे क्यूंकि भलाई इसमें ही है। बस्तर के आदिवासियों की जिंदगी में पत्तो का बहुत ज्यादा महत्त्व है। वह अपनी हर जरूरत की वस्तुओं में पत्तों का इस्तेमाल करते है। यहां के आदिवासी लोग तेन्दु पत्ता और बीड़ी पत्ता का बेहद ज्यादा इस्तेमाल करते है।