डेस्क : कोरोना संकट के बीच चीन में अब एक नया संक्रमण फैल रहा है उत्तरी चीन के बयन्नुर शहर में ब्यूबोनिक प्लेग फैल जाने से काफी हड़कंप मचा हुआ है। इसके मामले सामने आने से अधिकारियों ने भी चेतावनी जारी कर दी है। इस बीमारी ने पहले भी पूरी दुनिया में लाखों लोगों को मारा है इस जानलेवा बीमारी का दुनिया में तीन बार हमला हो चुका है पहली बार इससे पांच करोड़, दूसरी बार पूरे यूरो की एक तिहाई आबादी और तीसरी बार 80 हजार लोगों की जान चली गई थी।
एक बार फिर से यह बीमारी चीन में जन्म ले रहा है इसे ब्लैक डेथ या काली मौत भी कहते हैं। आपको बता दें कि चीन के सरकारी अखबार पीपल्स डेली ऑनलाइन की रिपोर्ट के मुताबिक चेतावनी का स्तर साल 2020 के अंत तक जारी रह सकता है।इससे संक्रमित व्यक्ति को अलग रखा गया है और उसकी हालत स्थिर है। ब्यूबोनिक प्लेग बैक्टीरिया संक्रमण के कारण होता है और यह जानलेवा भी साबित हो सकता है। हालांकि इसके लिए एंटीबायोटिक मौजूद है।
चेतावनी अभी तक स्पष्ट नहीं है कि यह लोग कैसे प्लेग से संक्रमित हुए। लेवल 3 की चेतावनी के बाद प्लेग फैलाने वाले जानवरों के खाने पर रोक लगा दी गई है साथ ही कहा गया है प्लेग के लक्षण सामने आने पर इसकी सूचना दें। पूरी दुनिया में ब्यूबोनिक प्लेग के संक्रमण के अक्सर मामले सामने आते रहते हैं साल 2017 में मेडागास्कर में ब्यूबोनिक प्लेग के 300 से ज्यादा मामले सामने आए थे।
लक्षण पिछले साल मई महीने में मंगोलिया में इससे दो लोगों की मौत हो गई थी इन लोगों ने कच्चा मांस खाया था चूहे और गिलहरी के जरिए यह वायरस इंसान में फैलता है। बुबोनिक प्लेग होने पर इंसान को अचानक बुखार आता है, सर में दर्द रहता है, ठंड लगती है और कमजोरी महसूस होती है। शरीर में जगह जगह पर सूजन भी आ जाता है।
क्या है ब्यूबोनिक प्लेग मध्य युग में ब्लैक डेथ के रूप में जाना जाने वाला यह ब्यूबोनिक प्लेग एक अत्यंत संक्रमण और घातक बीमारी है जो ज्यादातर रोडेंटस से फैलता है। यह बीमारी स्वास्थ्य संगठन डब्ल्यूएचओ के अनुसार बैक्टीरिया यसीनियर पेस्टिस के कारण होता है जो आमतौर पर छोटे स्तनधारियों और उनके पिस्सू में पाए जाने वाले एक जुनून जीवाणु होते हैं। यह बीमारी आमतौर पर पिस्सू के काटने से फैलती है जो चूहे, खरगोश और गिलहरी है जैसे संक्रमित जीवो पर भोजन के लिए निर्भर करता है। वैसे चीन में प्लेग के मामले असामान्य नहीं है,लेकिन इसका प्रकोप बढ़ता जा रहा है साल 2009 से 2018 तक चीन में 26 मामले सामने आए हैं जिसमें 11 लोगों की मौत भी हो गई है।
कैसे फैलता है फिलहाल इस बात को लेकर अभी स्पष्ट जानकारी नहीं मिली है कि यह लोगों फैलता कैसे है इसको लेकर असमंजस जारी है हालांकि, सतर्कता के तौर पर लोगों को किसी भी बीमारी या मृत ममोट(marmot)- बड़े और भारी पृथक जो गिलहरियों के समान जानवर) को रिपोर्ट करने के लिए कहा गया है। चीन में लोगों को जानवरों के शिकार और इनहे खाने से मना किया गया है जो प्लेग फैला सकते हैं। WHO के अनुसार अगर सही समय पे इसका इलाज़ नहीं तो 24 घंटे में जा सकती है जान।