बेगूसराय में आरोपी को जेल से बचाने का खेल : कोविड की निगेटिव रिपोर्ट किया पॉजिटव

न्यूज डेस्क : बेगूसराय में कोरोना के फर्जी जांच रिपोर्ट का पर्दाफाश हुआ है। यह पर्दाफाश उस वक्त हुआ जब पुलिस के गिरफ्त में आये एक आरोपी को जेल जाने से बचाने के लिए कोविद की निगेटिव रिपोर्ट को पॉजिटिव बना दिया । ताकि आरोपी जेल ना जाकर आईशोलेट होने को आईशोलेसन केंद्र पहुंच सके । बताते चलें कि इस मामले में मंझौल एसीजेएम न्यायालय के आदेश पर चेरिया बरियारपुर थाने में प्राथमिकी संख्या-117/2021 दर्ज की गई है। जिसमें सीएचसी चेरिया बरियारपुर के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ पृथ्वीराज सहित कई स्वास्थ्य कर्मी को नामजद किया गया ।

ऐसे हुआ था कोरोना रिपोर्ट निगेटिव से पॉजिटिव फिर निगेटिव जानकारी के अनुसार बीते 19 मई को चेरिया बरियारपुर थाना कांड संख्या- 71/2021 राज्य बनाम संजय सिंह के मामले में थाना पुलिस के द्वारा नामजद अभियुक्तों की गिरफ्तारी की गई थी। पुलिस के द्वारा गिरफ्तार अभियुक्त बालेश्वर सिंह को कोरोना जांच कराया गया था। जांच के क्रम मे उक्त गिरफ्तार अभियुक्त की रिपोर्ट निगेटिव आई थी। परंतु उनके शुभचिंतक सीएचसी कर्मियों के द्वारा जेल जाने से बचाने के लिए रिपोर्ट में फर्जी तरीके से हेराफेरी कर निगेटिव रिपोर्ट को पॉजीटिव बना दिया गया था।

जहां एसीजेएम प्रथम संतोष कुमार को सीएचसी के पर्ची पर लिखे पॉजीटिव शब्द के स्पेलिंग्स मे की गई गलती तथा टोकन नंबर नहीं रहने के कारण संसय की स्थिति उत्पन्न हो गई थी हालांकि न्यायालय के द्वारा उक्त अभियुक्त को प्रशासनिक स्तर पर तैयार आइसोलेशन सेंटर मे एडमिट कराने की बात कहते हुए पुलिस अभिरक्षा मे भेज दिया गया था। सदर अस्पताल में कोविड टेस्ट महज 07 घंटे में ही पॉजिटिव से निगेटिव होने पर केस में न्यायालय ने गंभीरतापूर्वक संज्ञान लिया।

तथा सीएचसी प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी एवं थाना पुलिस के विरुद्ध कारणपृच्छा का नोटिस जारी कर दिया। जिसके आलोक में प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी न्यायालय में अपने स्तर से जांच कर कारणपृच्छा का जबाव सदेह उपस्थित होकर जमा कर दिए। इधर पुलिस के द्वारा दिए गए जबाव में सारा ठीकरा प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी के विरुद्ध फोड़ दिया गया। जबकि रिपोर्ट में स्वास्थ्य कर्मियों द्वारा फर्जीवाड़ा करते समय पुलिस का ध्यान इस ओर से भटक गया। जो कहीं ना कहीं पुलिस की कार्यशैली पर भी सवाल खड़ा करता है।

कोरोना जांच रिपोर्ट के पॉजिटिव निगेटिव खेल की FIR दर्ज होने के बाद सीएचसी चेरिया बरियारपुर जांच के लिए पहुंचे डीएसपी मंझौल ने वहां के लेखापाल लालमोहन सिंह व डाटा एंट्री ऑपरेटर को पूछताछ के लिए गिरफ्तार कर अपने साथ ले गयी ।