नावकोठी/बेगूसराय : बढ़ती गर्मी व हीट वेव से आम जनजीव एन अस्त-व्यस्त।वहीं लू की शिकायत से कई विमार। आयुर्वेद चिकित्सक डॉक्टर कुंदन कुमार ने बताया कि सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे के बीच जब धूप सबसे तेज होती है,बाहर निकलने से बचें। यदि आपको बाहर जाना ही पड़े तो छाता,टोपी, और धूप चश्मा का प्रयोग करें।निर्जलीकरण लू लगने का एक प्रमुख कारण है।दिन भर में खूब पानी,नींबू पानी,छाछ, लस्सी, तरबूज का जूस और नारियल पानी जैसे तरल पदार्थ पिएं।दिन में कम से कम दो बार ठंडे पानी से स्नान या स्पंज करें।खिड़कियों और दरवाजों पर पर्दे लगाएं। पंखे और एयर कंडीशनर का इस्तेमाल करें। गीले कपड़े लटकाएं, जिससे हवा में नमी बढ़ेगी।भारी भोजन और शराब से बचें।नियमित व्यायाम करें।बुजुर्गों,बच्चों और बीमार लोगों का ध्यान रखें।ये लोग लू लगने के प्रति अधिक संवेदनशील होते हैं।जब आप बहुत गर्म हों तो तुरंत ठंडा पानी न पीएं।लू लगने के बाद तेज बुखार,सिरदर्द, चक्कर आना,थकान, ज्यादा पसीना आना, मांसपेशियों में ऐंठन, मतली,उल्टी और बेहोशी आदि लक्षण हैं।लू लगने पर तुरंत ठंडी जगह पर ले जाएं।ढीले-ढाले कपड़े पहनाएं।ठंडे पानी से स्पंज करें।नींबू पानी पिलाएं।यदि बुखार कम नहीं होता है या बेहोशी की स्थिति है, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।